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वैज्ञानिक ने उगा दिए एक ही पौधे पर आलू और टमाटर, जाने कैसे

किसान भाई अब एक ही पौधे पर कई प्रकार की फसलें उगा सकते हैं। जी हां वाराणसी, उत्तर प्रदेश में स्थित भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्था के वैज्ञानिकों ने यह कार्य करके दिखाया है। वैज्ञानिकों ने एक ही पौधे पर आलू और टमाटर दोनों ही फसल उगा दिए जो लोगों के लिए एक आश्चर्यजनक लग रहा है। लेकिन अब किसान भाई इस तरह की खेती करके अपनी आय बढ़ा सकते हैं।

देश में किसानों की आय बढ़ाने के लिए राज्य और केंद्र सरकारें लगातार नये-नये कदम उठा रहे हैं। और इन सब में वैज्ञानिकों का पूरा सहयोग मिल रहा है। किसानों को नई-नई बीज देना, नई-नई प्रकार की टेक्नोलॉजी का विकास करना। जिससे किसान भाई अनाज का अधिक पैदावार कम समय में कर सकें। वैज्ञानिकों की इस नई तकनीकी से किसानों का मुनाफा डबल हो जाएगा और किसान एक ही फसल पर दो-दो प्रकार की फसलें उगा कर लाभ प्राप्त करेंगे।

आलू-टमाटर एक पौधे पर कैसे उगाए गये

मीडिया रिपोर्ट की मानें तो उत्तर प्रदेश के वाराणसी में भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान के वैज्ञानिकों ने एक नई तकनीकी की मदद से एक ही पौधे में दो फसले उगाई। वैज्ञानिकों ने ग्राफ्टिंग विधि के द्वारा आलू और टमाटर को एक ही पौधे में पैदावार की, वैज्ञानिकों का मानना है कि यह किसानों के लिए बहुत ही लाभदायक होगा किसान एक ही जगह पर दो दो फसलें को एक साथ उगा सकते हैं।

नई उपज का क्या नाम दिया

भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान यूपी के वैज्ञानिकों ने उपज का नाम पोमेटो दिया है। वैज्ञानिकों ने ग्राफ्टिंग विधि के द्वारा यह पौधा तैयार किया है। इस पौधे को वैज्ञानिकों का कहना है कि इसमें आलू के पौधे में टमाटर जोड़ा गया और इसकी नियमित तौर पर देखभाल करने पर आलू और टमाटर की दोनों कलियां आना शुरू हो गया। इसमें खाद पानी का विशेष ध्यान देना पड़ता है।

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वैज्ञानिक कर रहे थे 7 साल से इस पर प्रयोग

वैज्ञानिक इस विधि को पिछले 7 साल से खोज रहे है। इतने मेहनत के बाद फाइनली उन्होंने एक पौधे पर अलग-अलग फसल उगाने के लिए तकनीकी खोज निकाली। ग्राफ्टिंग विधि की सभी बारीकियां सीखने और समझने के बाद वैज्ञानिकों को एक पौधे पर दो फसल उगाने में सफलता मिली है।

बताया जाता है कि इस तकनीकी में एनवायरमेंट का खास महत्व होता है। आलू और टमाटर के पौधे एक साथ उगाने के लिए 20 से 28 डिग्री सेल्सियस तापमान रखा गया था। ग्राफ्टिंग करने के 15 दिन बाद इसी खेत में लगाया गया और इसकी नियमित तौर पर देखभाल और सिंचाई करने पर 45 से 60 दिनों के अंदर आलू और टमाटर आना शुरू हो गए अब वैज्ञानिकों ने किसानों को भी प्रशिक्षण देना चालू करेगें।

आप भी कर सकते हैं इस तकनीकी का उपयोग

वैज्ञानिकों ने बताया कि ग्राफ्टिंग विधि से खाली जगह पर आप खेती करके घरेलू जरूरतों को पूरा कर सकते हैं। एक पौधे में लगभग 2 किलो टमाटर और लगभग सवा किलो आलू आप आराम से पैदावार कर सकते हैं। आप इसे बालकनी घर की छत पर या किचन गार्डन के रूप में इसका इस्तेमाल अच्छे से कर सकते हैं।

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